14 नवंबर का दिवस सुनहरा आया,
हम सब ने मिलकर इसे बाल दिवस के रूप में मनाया,
बच्चों से अत्यधिक स्नेह होने के कारण,
नाम उन्हें चाचा नेहरू मिल पाया,
बच्चों को ही उन्होंने देश का उज्जवल भविष्य बताया,
बच्चों में ही यह सारा संसार समाया।।
बच्चे राष्ट्र की जान हैं,
बच्चे भारत मां की पहचान हैं,
बच्चों से ही सजा पूरा हिंदुस्तान हैं,
बच्चों के बिना अधूरा यह सारा जहां हैं,
बच्चों को शोषण से मुक्त कराओ,
उनको उनके अधिकार बताओ,
यही बाल दिवस की पहचान है।।
बच्चे ईश्वर का रूप हैं,
हसीन मुख मानो चंचल सी धूप हैं,
इनको उड़ने दो खुले आसमान में,
मत जकडो इन्हें पिंजरे के ताल में,
क्योंकि इन्हीं में से कोई चाचा नेहरू
तो कोई गांधी सा सपूत है,
ना डरते यह दुश्मनों से,
क्योंकि यह भारत माता के वीर बलवान हैं।।
इनको पढ़ने का अवसर दो,
खेल-कूद में बढ़ने का अवसर दो,
कला संगीत में भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने दो,
इनके मन को भाए उस क्षेत्र में इनको आगे बढ़ने दो,
कम नहीं है कोई भी बच्चा किसी से,
बस इन्हें खुद हीरे की तरह निखारने दो।।
आज के बच्चे ही कल के नेता हैं,
इनके भरोसे ही यह देश बैठा हैं,
बाल दिवस का संदेश यही सबको रहता हैं,
इनको जितना तुम पढाओगे,
देश को उतना ही तुम आगे बढाओगे,
प्रगति की और लाओगे,
देश को जब तुम बाल मजदूरी और
बाल शोषण को पूरी तरह दूर भगाओगे,
देश का नया रूप तुम देख पाओगे।।
जब भेद-भाव सब मिलकर दूर भगाओगे,
बेटे संग बेटी को भी भरपूर पढाओगे,
तब तुम नवराष्ट्र का निर्माण कर पाओगे,
बेटियों के हुनर को देख पाओगे,
जब तुम बेटे की तरह बेटियों को भी पिंजरे से बाहर उडाओगे,
तब तुम अपनी बेटी में भी झांसी की रानी को पाओगे।।
बाल दिवस के दिन चाचा नेहरू को श्रद्धांजलि तुम देते जाओ,
अपने मन में भी सच्चे देशभक्त बनने का प्रण लेते जाओ,
अपने वतन के प्रति पूरी वफादारी रखते जाओ,
बाल दिवस का संदेश तुम पूरे देश में फैलाओ,
बच्चों को अपराध मुक्त वह गलत रास्ते से बचाओ,
उनमें देशभक्ति की लग्न जगाओ।।
"रोशन यह सारा जहां होगा,
खुशनसीब यह हिंदुस्तान होगा,
जब भी देश का कोई बच्चा चाचा नेहरू सा होगा,
उस दिन फिर से एक बार
सारे जहां से अच्छा हिंदुस्तान होगा।"
हम सब ने मिलकर इसे बाल दिवस के रूप में मनाया,
बच्चों से अत्यधिक स्नेह होने के कारण,
नाम उन्हें चाचा नेहरू मिल पाया,
बच्चों को ही उन्होंने देश का उज्जवल भविष्य बताया,
बच्चों में ही यह सारा संसार समाया।।
बच्चे राष्ट्र की जान हैं,
बच्चे भारत मां की पहचान हैं,
बच्चों से ही सजा पूरा हिंदुस्तान हैं,
बच्चों के बिना अधूरा यह सारा जहां हैं,
बच्चों को शोषण से मुक्त कराओ,
उनको उनके अधिकार बताओ,
यही बाल दिवस की पहचान है।।
बच्चे ईश्वर का रूप हैं,
हसीन मुख मानो चंचल सी धूप हैं,
इनको उड़ने दो खुले आसमान में,
मत जकडो इन्हें पिंजरे के ताल में,
क्योंकि इन्हीं में से कोई चाचा नेहरू
तो कोई गांधी सा सपूत है,
ना डरते यह दुश्मनों से,
क्योंकि यह भारत माता के वीर बलवान हैं।।
इनको पढ़ने का अवसर दो,
खेल-कूद में बढ़ने का अवसर दो,
कला संगीत में भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने दो,
इनके मन को भाए उस क्षेत्र में इनको आगे बढ़ने दो,
कम नहीं है कोई भी बच्चा किसी से,
बस इन्हें खुद हीरे की तरह निखारने दो।।
आज के बच्चे ही कल के नेता हैं,
इनके भरोसे ही यह देश बैठा हैं,
बाल दिवस का संदेश यही सबको रहता हैं,
इनको जितना तुम पढाओगे,
देश को उतना ही तुम आगे बढाओगे,
प्रगति की और लाओगे,
देश को जब तुम बाल मजदूरी और
बाल शोषण को पूरी तरह दूर भगाओगे,
देश का नया रूप तुम देख पाओगे।।
जब भेद-भाव सब मिलकर दूर भगाओगे,
बेटे संग बेटी को भी भरपूर पढाओगे,
तब तुम नवराष्ट्र का निर्माण कर पाओगे,
बेटियों के हुनर को देख पाओगे,
जब तुम बेटे की तरह बेटियों को भी पिंजरे से बाहर उडाओगे,
तब तुम अपनी बेटी में भी झांसी की रानी को पाओगे।।
बाल दिवस के दिन चाचा नेहरू को श्रद्धांजलि तुम देते जाओ,
अपने मन में भी सच्चे देशभक्त बनने का प्रण लेते जाओ,
अपने वतन के प्रति पूरी वफादारी रखते जाओ,
बाल दिवस का संदेश तुम पूरे देश में फैलाओ,
बच्चों को अपराध मुक्त वह गलत रास्ते से बचाओ,
उनमें देशभक्ति की लग्न जगाओ।।
"रोशन यह सारा जहां होगा,
खुशनसीब यह हिंदुस्तान होगा,
जब भी देश का कोई बच्चा चाचा नेहरू सा होगा,
उस दिन फिर से एक बार
सारे जहां से अच्छा हिंदुस्तान होगा।"
Excellent
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